
कोरोना संक्रमित का शव जलाने को लेकर रविवार सुबह जमकर बवाल हुआ। बर्निंग घाट के निकट ह्यूमपाइप बस्ती के लोगों ने पुलिस पर पथराव किया। इसके जवाब में पुलिस ने भी लाठीचार्ज किया।
पथराव में त्वरित राहत बल की महिला कांस्टेबल घायल हो गई। हंगामा कर रही महिलाओं सहित 11 को गिरफ्तार कर लिया गया। डेढ़ सौ अज्ञात पर प्राथमिकी दर्ज की गई है। श्मसान घाट के कर्मचारियों ने भी शव जलाने का विरोध किया। इस कारण आनन-फानन में शव को ट्रॉली में रखकर उसे जलाने के लिए इलेक्ट्रिक मशीन को चालू किया तो ट्रॉली भट्ठी में आधी जाकर फंस गयी। शव आधा बाहर रह गया। अंदर का हिस्सा ही जल पाया।
रविवार सुबह पांच बजे सोनारी के बुजुर्ग का शव टीएमएच से बर्निंग घाट लाया गया। रात में स्थानीय नेता व पूर्व मंत्री दुलाल भुइयां ने आश्वासन दिया था कि लोग विरोध नहीं करेंगे। लेकिन शव आने के बाद लोग श्मशान घाट के पास आकर विरोध करने लगे। थोड़ी देर तक लोगों ने हंगामा किया, लेकिन एक व्यक्ति द्वारा फोन से दुलाल भुइयां से इनकी बात कराए जाने के बाद महिलाएं मेन गेट से इधर-उधर हो गईं। इस बीच सौ की संख्या में बस्ती की महिलाओं ने श्मशान घाट के पीछे वाली नदी के तटीय गेट के पास आकर हंगामा शुरू कर दिया। तब तक यहां क्यूआरटी आ गयी, लेकिन अधिकारियों ने उन्हें आक्रामक कार्रवाई से रोक दिया।
इस बीच शव को उतारने के लिए पीपीई किट पहने स्वास्थ्यकर्मी एंबुलेंस की ओर बढ़े। उनका एम्बुलेंस की ओर बढ़ना था कि लोग उत्तेजित हो गए और श्मशान घाट पर पथराव शुरू कर दिया। इसके बाद एसडीओ और सिटी एसपी पहुंचे। उन्होंने भीड़ से बातचीत शुरू की। लोगों ने कहा कि लिखकर दीजिए कि यहां शव जलने से किसी को कोरोना नहीं होगा। एसपी तैयार भी हो गए, लेकिन इसपर लोगों के बीच ही मतभेद हो गया, जिस पर लिखित आश्वासन नहीं दिया गया।
इधर, बातचीत के दौरान पुलिस भीड़ को पीछे धकेलते हुए नदी के तटीय इलाके के पास तक ले गयी। इस बीच शव को एंबुलेंस से उतार लिया गया और उसे शवदाह गृह के अंदर ले जाया गया। एसपी से बातचीत चल ही रही थी कि एक महिला आयी और पुलिस पर पथराव कर दिया। पत्थर सीधे महिला सिपाही के सिर पर लगा, जिससे पुलिस वाले भड़क गए और लाठीचार्ज कर दिया गया। इससे पूरे इलाके में भगदड़ मच गयी। महिला को पकड़कर पुलिस ने जमकर पीटा। उसके साथ आयी एक अन्य महिला को भी पकड़ लिया। पुलिस लाठीचार्ज के दौरान नौ महिलाएं श्मशान के अंदर ही रुक गयी थीं, जिन्होंने जैसे ही विरोध किया तो उन्हें भी लाठी से पीटा गया और सभी को गिरफ्तार कर थाना ले जाया गया।
सुबह लगभग 11.30 बजे कोरोना संक्रमण से शनिवार को मरी साकची की महिला का भी शव यहां आ गया। एंबुलेंस के आगे-पीछे पुलिस फोर्स पहुंची। एंबुलेंस श्मशान घाट के अंदर तक गयी। उसका अंतिम संस्कार होने में दिन के तीन बज गए। तब तक यहां पुलिस और प्रशान के वरीय अधिकारी मौजूद रहे।