बांबे हाई कोर्ट ने नफरत फैलने वाला वीडियो पोस्ट करने के तीन ओरपियों के टिकटॉक अकाउंट का निलंबन रद्द कर दिया। अदालत ने यह कहते हुए निलंबन रद्द किया कि, दंड प्रक्रिया संहिता (CRPC) की धारा 91 के तहत साइबर सेल के पास टिकटॉक को किसी व्यक्ति के अकाउंट को बंद करने का निर्देश देने का अधिकार नहीं है।
पछले सप्ताह अदालत के आदेश के बाद फैसू, हसनैन और शादान के टिकटॉक अकाउंट पर लगी रोक हटा ली गई। तीनों पर आरोप था कि, इन्होंने नफरते फैलाने वाले वीडियो बनाकर टिकटॉक पर अपलोड किया था। इस संबंध में मिली एक शिकायत के बाद पिछले साल जुलाई में मुंबई पुलिस की साइबर सेल के निर्देश पर तीनों के टिकटॉक अकाउंट ब्लॉक कर दिए गए थे।
साइबर सेल द्वारा कहा गया था कि, इनके वीडियो से धार्मिक सैहार्द बिगड़ सकता है, हालांकि पिछले साल अगस्त में हाईकोर्ट ने तीनों को अग्रिम जमानत दे दी थी। इसके बावजूद इनके सोशल मीडिया अकाउंट पर लगी रोक नहीं हटाई गई थी। हाईकोर्ट ने निर्देश देते हुए कहा कि, साइबर सेल के पास टिकटॉक अकाउंट बंद कराने का अधिकार नहीं है।
गौरतलब हो कि, बीते दिनों सोशल मीडिया पर ‘स्कल ब्रेकर चैलेंज’ से जुड़े वीडियो सामने आ रहे थे। बच्चे इस चुनौती को स्वीकार करके खुद को नुकसान पहुंचा रहे थे। इसके बाद टिकटॉक के खिलाफ अवाजें उठनी शुरू हुई थीं।